GST Fraud Rajasthan 524 करोड़ का घपला फर्ज़ी आधार से फर्म बनाई

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GST Fraud Rajasthan : राजस्थान में एक ऐसे गिरोह का पर्दाफाश हुआ है जिन्होंने 524 करोड रुपए का जीएसटी घोटाला कर दिया इन लोगों ने करीब 40 फर्जी आधार कार्ड से फर्म का रजिस्ट्रेशन करवा रखा था इन फर्ज़ी आधार कार्ड से सेल कंपनियां खोल दी गई इन कंपनियों का वास्तव में धरातल पर कोई अस्तित्व नहीं था इस गिरोह का करीब 22 अलग-अलग राज्यों में नेटवर्क फैला हुआ है यह बोगस कंपनियां केवल कागजों में चल रही थी और इन्होंने बिल काट कर लोगों को दे दिए।

यह घोटाला राजस्थान के जोधपुर में हुआ है जोधपुर के देवनगर थाना अंतर्गत मसूरिया मे E Mitra से फर्ज़ी आधार व पेन कार्ड बनाने वाले आरोपियों से पूछताछ मे चौंकाने वाले खुलासे हुए है आरोपियों ने फर्ज़ी आधार पेन कार्ड व सरकारी विभाग के अफसरों की फर्ज़ी सीलें बनाकर फर्ज़ी कंपनियों के registration कर दिए । इन्होंने 22 राज्यों में 240 फर्जी फर्मे बनवाकर 524 करोड रुपए का घोटाला कर दिया 540 करोड़ में से 278 करोड़ का GST क्लेम भी किया जा चुका है और शेष 246 करोड़ जीएसटी इनपुट पास ऑन कर दिया गया था।

GST घोटाला कैसे अंजाम दिया

ई मित्र पर प्रवीण पंवार फर्जी सील व हस्ताक्षर करके फर्जी आधार व पैन कार्ड बनवात था । वह छोटे बच्चों के पैरों के अंगूठे व उंगलियों को स्कैन कर लेता था आंखों के रेटिना की जगह जिन्होंने आज तक आधार नहीं बनवाया वैसे बोगस ग्राहकों को ढूंढ कर स्कैन कर लेता था। फर्जी आधार व पेन से वह बैंक में फर्जी करंट अकाउंट खोल लेता था। फर्जी दस्तावेज से सिम भी उपलब्ध करवाता था। ईमेल आईडी में फर्जी कंपनी बनाकर फर्म का GST रजिस्ट्रेशन तक भी करवा कर देता था। यह फ्रॉम सिर्फ दस्तावेजों में ही होती थी जबकि जमीनी हकीकत कुछ और ही होती थी।

GST Fraud Rajasthan

आरोपी प्रवीण व सद्दाम से पूछताछ में कई खुलासे हुए हैं आरोपी अमित की गीता भवन के पास मोहरे बनाने की दुकान है जहां कई विभागों के अधिकारियों की फर्जी सील बनवाई गई थी । अन्य चार आरोपियों ने फर्जी आधार कार्ड बनवाए थे और मुंबई ले जाकर किसी पार्टी को सौंप थे फर्जी कंपनी बनाने में मुंबई व कोलकाता के दो CA के साथ की भूमिका भी संदिग्ध लगी है।

किन राज्यों में बनी बोगस फर्मे

गिरोह ने आंध्र प्रदेश, असम, बिहार, दिल्ली, छत्तीसगढ़, दमन व दिव, गोवा, गुजरात, हिमाचल प्रदेश, कर्नाटक, मध्य प्रदेश महाराष्ट्र, मणिपुर, उड़ीसा, पंजाब, राजस्थान, तमिलनाडु तेलंगाना, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड व पश्चिम बंगाल में गड़बड़ी की थी।

GST फ्रॉड मे किसे किया ग़िरफ़्तार

पुलिस उपायुक्त राजर्षि राज वर्मा ने बताया कि प्रकरण में निहारिका ईमित्र संचालक मसूरिया कॉलोनी निवासी प्रवीण पंवार व शोभावतों की ढाणी में नारायण नगर निवासी सद्दाम हुसैन को गिरफ्तार किया गया था इनसे पूछताछ के बाद बड़े गिरोह के सक्रिय होने का पता लगा था।

थानाधिकारी सोमकरण के नेतृत्व में DST, साइबर सेल ने विभिन्न पहलुओं पर जांच के बाद ओसियां के पद साल में भाटियां की ढाणी निवासी किशन सिंह, रणवीर सिंह, गजेंद्र सिंह, बावड़ी तहसील के सावंत कुआं खुर्द निवासी चेलाराम मेघवाल व मसूरिया में कुम्हार की बगीची के पास निवासी अमित भाटी को गिरफ्तार किया गया था।

प्रवीण पंवार व सद्दाम हुसैन को जेल भेजा जा चुका है। अन्य आरोपी अभी रिमांड पर है । किशन सिंह, रणवीर सिंह व गजेंद्र सिंह को जांच के लिए दूसरे राज्यों में ले जाया जाएगा नेटवर्क को खोलने में साइबर सेल के हेड कांस्टेबल प्रेम चौधरी व DST के कांस्टेबल दलाराम की विशेष भूमिका रही।

278 करोड़ का जीएसटी क्लेम उठा चुके

आरोपियों ने गिरोह के करोड़ों रुपए के फर्जी बिल काटे 22 राज्यों में 240 फर्जी फर्मे बनी थी । 524 करोड़ का GST चोरी की गड़बड़ी इन्होंने की थी। इस में से 281 करोड रुपए के क्लेम ले लिए गए हैं। 246 करोड रुपए जीएसटी इनपुट पास ऑन कर दिए गए। आरोपियों ने 240 फार्मो में से 44 फर्मों की पहचान ईमेल आईडी पैन कार्ड व मोबाइल नंबर से की। अन्य 196 फर्मो की पहचान अन्य डेटाबेस के आधार पर की गई।

GST विभाग ने रद्द किए रजिस्ट्रेशन 

240 फर्मो में से 152 का जीएसटी रजिस्ट्रेशन संबंधित राज्यों के जीएसटी विभाग की ओर से रद्द कर दिया गया है राजस्थान में 29 कंपनियों मे से 16 का जीएसटी रजिस्ट्रेशन कैंसिल कर दिया गया जोधपुर में कुल 18 फॉर्म रजिस्टर्ड थी इसमें से 9 फार्म का जीएसटी रजिस्ट्रेशन पूर्व मै खारिज किया जा चुका है केंद्रीय जीएसटी जोधपुर की टैक्स एंटी एविएशन शाखा 19 जून को 8 फर्मो के पत्ते पर गई थी लेकिन कंपनी का संचालक उनको नहीं मिला था।

 

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